श्री रामचरित मानस पवित्र ग्रंथ है। दिव्य महाकाव्य है। इस मनोहारी काव्य की कुछ चौपाइयां आपके घर में सुख-समृद्धि और धन प्राप्ति के योग बनाती है। इन चौपाइयों को सिद्ध करने के लिए रामनवमी का दिन सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। ऐसी चौपाइयां आपके जीवन में विलक्षण रूप से असरकारी होती हैं। रामनवमी के शुभ अवसर पर इन चौपाइयों को जरुर पढ़ें व इन्हें सिद्ध भी करें। परिणाम स्वरुप आपको कभी घर में धन की कमी व आर्थिक समस्याएं नहीं होंगी।
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पंडित रमाकांत मिश्रा बताते हैं की रामचरित मानस में कुछ चौपाइयां ऐसी हैं जिनका संकट से बचाव और ऋद्धि-सिद्ध के लिए मंत्रोच्चारण के साथ पाठ किया जाता है। रामचरित मानस की इन चौपाइयों को मंत्र की तरह पूरे विधान के साथ 108 बार हवन सामग्री की तरह सिद्ध किया जाता है। हवन चंदन के बुरादे, जौ, चावल, शुद्ध केसर, शुद्ध घी, तिल, शक्कर, अगर, तगर, कपूर नागर मोथा, पंचमेवा आदि सामग्री के साथ श्रद्धापूर्वक मंत्रोच्चार के साथ करना चाहिए। आइए जानते हैं लक्ष्मी प्राप्ति, ऋद्धि सिद्ध की प्राप्ति और परिक्षा में सफलता पाने के लिए किन चौपाइयों को सिद्ध करना चाहिए….
लक्ष्मी की प्राप्ति के लिए
जिमि सरिता सागर मंहु जाही।
जद्यपि ताहि कामना नाहीं।।
तिमि सुख संपत्ति बिनहि बोलाएं।
धर्मशील पहिं जहि सुभाएं।।
ऋद्धि सिद्ध की प्राप्ति के लिए
इसके लिए रामायण के इस मंत्र का जाप करें जो इस प्रकार है
साधक नाम जपहिं लय लाएं।
होहि सिद्धि अनिमादिक पाएं।।
परीक्षा में सफलता के लिए
जेहि पर कृपा करहिं जनुजानी।
कवि उर अजिर नचावहिं बानी।।
मोरि सुधारहिं सो सब भांती।
जासु कृपा नहिं कृपा अघाती।।
रामचरितमानस की पावन चौपाईयों को रामनवमी के शुभ दिन अभिमंत्रित करने का तरीका यह है कि रात्रि को 10 बजे के बाद अष्टांग हवन के द्वारा इन्हें सिद्ध करें। कहते हैं भगवान् शंकरजी ने मानस की चौपाइयों को मंत्र-शक्ति प्रदान की है- इसलिए भगवान शंकर को साक्षी बनाकर इनका श्रद्धा से जप करना चाहिए।