कभी नहीं सताएगा शनि साढ़ेसाती का प्रकोप, इन 7 उपायों से प्रसन्न होते हैं हनुमान जी

कभी नहीं सताएगा शनि साढ़ेसाती का प्रकोप, इन 7 उपायों से प्रसन्न होते हैं हनुमान जी

कभी नहीं सताएगा शनि साढ़ेसाती का प्रकोप, इन 7 उपायों से प्रसन्न होते हैं हनुमान जी लाइव हिंदी खबर :-शास्त्रों के अनुसार मंगलवार का दिन हनुमान जी का माना जाता है। माना जाता है कि इस दिन पवनपुत्र की सच्चे मन से पूजा की जाए तो हनुमान जी तमाम समस्याओं से अपने भक्त को दूर रखते हैं। आप के सभी रुके हुए कामों में आ रही बाधाओं को दूर करते हैं। शास्त्रों की मानें तो मंगलवार के दिन हनुमान जी की पूजा करने से घर में मंगल बना रहता है। मान्यता ये भी है कि मंगलवार को हनुमान जी की सच्चे दिल से पूजा की जाए तो सभी अमंगल टल जाते हैं और भगवान हनुमान आपके घर की रक्षा करते हैं। आज हम आपको शास्त्रों में दर्ज हनुमान जी के 7 अचूक उपायों के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें हर मंगलवार करके आप अपने जीवन में सफल हो सकते हैं।

मंगलवार को करें ये 7 उपाय

1. मंगलवार के दिन सुबह बरगद के पेड़ का एक पत्ता साफ पानी से धोएं और उसके ऊपर हनुमान जी की प्रतिमा रखकर पूजा-अर्चना करें। अब उस पर केसर से श्रीराम लिखें। इस पत्ते को अपने पर्स में रखें, इससे बरकत बनी रहेगी। जब ये पत्ता पूरी तरह सूख जाए तो इसे नदी में प्रवाहित करें।

2. मंगलवार के दिन हनुमान जी को लाल गुलाब की माला चढ़ाएं और उसमें से एक फूल तोड़कर उसे लाल-कपड़ें में बांधकर अपनी तिजोरी में रखें। कभी पैसों की कमी नहीं होगी।

3. मंगलवार की शाम किसी ऐसे मंदिर जाएं जहां भगवान राम और हनुमान दोनों की ही प्रतिमा हो। इस मंदिर में हनुमान जी के समीप घी का दिया जलाएं। इसके बाद हनुमान चालीसा और राम रक्षा स्त्रोत का पाठ करें।

4. रामनवमी के दिन हनुमान मंदिर जाकर हनुमान प्रतिमा पर सिंदूर व चमेली का तेल अर्पित करें और अपनी मनोकामना के लिए प्रार्थना करें।

5. मंगलवार की सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि करके हनुमान जी का जाप करें। जाप के लिए हकीक की माला का इस्तेमाल करें।

6. बरगद के 11 या 21 पत्तों को साफ पानी से धुल कर उसमें श्रीराम का नाम लिखें और इसकी माला बनाकर हनुमान जी की प्रतिमा पर चढ़ाएं।

7. अगर आप शनि दोष से पीड़ित हैं तो मंगलवार के दिन काली उड़द व कोयले की पोटली बनाकर इसमें एक रुपए का सिक्का रखें और इस पोटली को अपने ऊपर से उतार कर किसी नदी में प्रवाहित कर दें।

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