दिल्ली उच्च न्यायालय ने केजरीवाल के मुख्यमंत्री पद पर बने रहने के खिलाफ मामला खारिज कर दिया

लाइव हिंदी खबर :- दिल्ली उच्च न्यायालय ने शराब नीति भ्रष्टाचार मामले में प्रवर्तन विभाग द्वारा गिरफ्तार किए गए अरविंद केजरीवाल के दिल्ली के मुख्यमंत्री बने रहने के खिलाफ दायर जनहित याचिका खारिज कर दी। इस संबंध में याचिका पर आज सुनवाई करते हुए दिल्ली हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश (प्रभारी) मनमोहन और मनमीत प्रीतम सिंह अरोड़ा की पीठ ने कहा, ‘यह अदालत के हस्तक्षेप के दायरे से बाहर है.

इसने दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल के खिलाफ याचिका खारिज कर दी और कहा कि सरकार के अन्य विभागों की भी कानून के मुताबिक जांच की जानी चाहिए। मामले की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने याचिकाकर्ता सुरजीत सिंह यादव के वकीलों से अरविंद केजरीवाल के मुख्यमंत्री बने रहने पर कानूनी रोक के बारे में सवाल किया. “इस मामले में कई व्यावहारिक दिक्कतें हो सकती हैं. लेकिन वो अलग बात है. हालांकि, इसमें कानूनी बाधाएं क्या हैं?” वह पूछा.

‘राजनीतिक साजिश’- केजरीवाल: इस बीच केजरीवाल को आज दोपहर रोज़ एवेन्यू अदालत में पेश किया गया क्योंकि प्रवर्तन विभाग की हिरासत आज (28 मार्च) समाप्त हो रही है। कोर्ट रूम में जाने से पहले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि यह राजनीतिक साजिश का कृत्य है और लोग इसका जवाब देंगे.” केजरीवाल की पत्नी सुनीता और बेटा रोज एवेन्यू कोर्ट में सुनवाई देखने आए थे। वहीं, दिल्ली के मंत्री आदिशी, सौरभ भारद्वाज, गोपाल रॉय और कई विधायक भी मौजूद रहे।

इससे पहले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को 21 तारीख को प्रवर्तन विभाग ने गिरफ्तार कर लिया था, उन्होंने आरोप लगाया था कि आम आदमी पार्टी को शराब नीति घोटाले में 100 करोड़ रुपये का फायदा हुआ है. दिल्ली की एक अदालत ने आदेश दिया था कि उन्हें आज (28 मार्च) तक प्रवर्तन निदेशालय की हिरासत में भेजा जाए। गौरतलब है कि अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता ने बुधवार को कहा था कि वह दिल्ली शराब नीति मामले में अहम सबूतों का खुलासा करेंगी.

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top